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  1. रवि मैहर की यात्रा: एक अनजान मोती से साक्री के मेयर बनने तक की

     वर्ष 2000 17 वर्षीय रवि मेहर बिलासपुर छत्तीसगढ़ के एक छोटे गांव साकरी के एक सरकारी विद्यालय में दिन पूरा होने पर अपने किताबों का बस्ता बांध लिया और चल पड़ा फुटपाथ पर स्थित एक छोटे से झोपड़ी की तरफ जहां उसके पिताजी बैठते हैं। उसके पिताजी जो कि एक साधारण म ...
  2. कभी नशे के अंधेरों से घिरे दारा आज दूसरों के लिए आशा के दीपक बन गए

    एक व्यक्ति जो जान से मारने को तैयार था एवं एक वह व्यक्ति जो अपने माँ –बाप  का चहेता है। दो भिन्न-भिन्न व्यक्ति? नहीं, एक ही व्यक्ति – दारा सिंह दारा शिक्षा के स्कूल की बजाय नशे के स्कूल में चला गया दारा सिंह एक साधारण लड़का था- एक किसान का बेटा। राजस्थान ...
  3. शराब की लत छोड़कर अब युवा व्यसन मुक्ति कार्यक्रम चला रहे हैं डॉ वयाल

    डॉक्टर पुरुषोत्तम वयाल कभी खुद भी दिन रात शराब का नशा किया करते थे। अपनी मज़बूत इच्छाशक्ति  उन्होंने असाधारण साहस के साथ मुकाबला किया एवं एक करिश्माई सामाजिक कार्यकर्ता एवं जन नायक के रूप में उभर कर आगे आये। डॉ वयाल अपनी मार्मिक यात्रा पर प्रकाश डालते हैं, ...